पराग ने कहा, ‘‘जब मैं रन नहीं बना रहा था तो मैंने पहले इंटरव्यू में भी कहा था कि मैं भारत के लिए जरूर खेलूंगा. यह मेरा खुद पर विश्वास है. यह मेरा अहंकार नहीं है. जब मैंने 10 साल की उम्र में क्रिकेट खेलना शुरू किया था, तब मेरे पिता (रेलवे और असम के पूर्व खिलाड़ी पराग दास) के साथ मेरी यही योजना थी.’’